केंद्र और बंगाल सरकार के बीच जारी तनातनी ने सोमवार को नया मोड़ ले लिया। केंद्र ने सोमवार सुबह बंगाल के मुख्य सचिव अलापन बंदोपाध्याय को दिल्ली बुलाया, लेकिन वह नहीं पहुंचे। इसके बाद केंद्र सरकार ने अलापन को कारण बताओ नोटिस भेजा। केंद्र की इस कार्रवाई के चंद मिनट बाद ही ममता बनर्जी ने अलापन को मुख्य सचिव के पद से सेवानिवृत्त कर दिया और उन्हें मुख्य सलाहकार बना दिया। ममता ने कहा कि एचके द्विवेदी को नया मुख्य सचिव और बीपी गोपालिका को नया गृह सचिव नियुक्त किया गया है।
इस मामले में ममता ने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया। जब मुख्य सचिव के रूप में अलापन का कार्यकाल 3 महीने बढ़ा दिया गया, तो ममता ने चुनौतीपूर्ण तरीके से कहा कि समय आने पर वह जवाब देंगी। करीब आधे घंटे बाद उन्होंने 3 साल के लिए अलपन को मुख्य सलाहकार बनाने का फैसला ले लिया।
ममता ने कहा- अलपन 31 मई को सेवानिवृत्त हो रहे हैं और वह दिल्ली में जॉइन नहीं कर रहे हैं। ममता के इस फैसले के बाद केंद्र भी कार्रवाई पर अड़ गया। सवा छह बजे केंद्र ने कहा- भले ही अलापन रिटायर हो रहे हों, लेकिन हम चार्जशीट भेजकर उन पर कार्रवाई करेंगे।
केंद्र के बुलाने के बावजूद अलापन नबन्ना भवन में ही रहे
वे हावड़ा के नबन्ना भवन पहुंचे। यहां उन्हें कोविड राहत से संबंधित वीडियो कांफ्रेंसिंग में शामिल होना था। अलापन सुबह करीब साढ़े दस बजे वीडियो कांफ्रेंसिंग के बाद भी दिल्ली के लिए नहीं निकले। शाम होते-होते केंद्र की कार्रवाई भी साफ हो गई और उस पर ममता ने मास्टर स्ट्रोक भी लगा दिया।
बंगाल में मोदी की बैठक में देर से पहुंचे बंदोपाध्याय
चक्रवात यास की समीक्षा के लिए शुक्रवार को आहूत हुई प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बैठक के लिए अलापन बंदोपाध्याय देर से पहुंचे थे। इसके बाद शाम को उन्हें दिल्ली बुलाने के आदेश जारी किए गए। सेवानिवृत्त वरिष्ठ नौकरशाहों और कानूनी विशेषज्ञों का मानना था कि केंद्र सरकार ने भले ही मुख्य सचिव को दिल्ली में रिपोर्ट करने का आदेश दिया हो, लेकिन इसे लागू करना मुश्किल हो सकता है।
उन्हें राहत देना राज्य सरकार के दायरे में आता है। ऐसे में ममता उन्हें दिल्ली भेजने से मना कर सकती हैं। कुछ दिन पहले ममता ने बंदोपाध्याय का कार्यकाल तीन महीने बढ़ाने की बात कही थी।
केंद्र ने मुख्य सचित को दिल्ली तलब किया था
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 28 मई को बंगाल में यास तूफान से राज्य को हुए नुकसान की समीक्षा करने पहुंचे थे। इस बैठक में भी मुख्य सचिव अलापन बंदोपाध्याय देर से पहुंचे थे। जबकि ममता और बंदोपाध्याय उसी बिल्डिंग में मौजूद थे, जिसमें मोदी की बैठक चल रही थी। उनके देर से पहुंचने के बाद ही केंद्र ने उन्हें दिल्ली बुलाने का आदेश जारी किया था।