कानपुर के परफ्यूम कारोबारी पीयूष जैन (Piyush Jain) हीरो बनकर जेल से छूट सकते हैं। दरअसल, जीएसटी इंटेलिजेंस महानिदेशालय (DGGI) की अहमदाबाद टीम ने उनके कानपुर स्थित घर से 177.45 करोड़ रुपये नकद बरामद किए, अब टीम ने इस रकम को कारोबारी टर्नओवर मान रही हैं‚ लेकिन सवाल ये भी है कि डीजीजीआई से लगाम छूटने के बाद बाकी एजेंसियां भी तैयार खड़ी हैं।
वहीं दूसरी ओर करोड़ों की काला धन जमा करने वाला पीयूष अब कोर्ट की शरण में पहुंच गया है। पीयूष ने कोर्ट से कहा है कि पैनल्टी और कर चोरी सहित उस पर कुल 52 करोड़ बनता है‚ ये रकम काट उसे उसकी बाकी रकम लौटाई जाए। पीयूष जैन फिलहाल कानपूर जेल में न्यायिक हिरासत में है।
DGGI के वकील अंबरीश टंडन ने बुधवार को कहा कि पीयूष (Piyush Jain) घर से बरामद किया गया पैसा टैक्स चोरी की रकम थी। इस रकम को 42 बक्सों में रखकर बैंक में डिपॉजिट करा दिया गया है। कानपुर में अब तक 177 करोड़ 45 लाख रुपये की वसूली हो चुकी है, ये भारतीय स्टेट बैंक में दो बार जमा हो चुकी है। पहली बार 25 बक्सों में 109 करोड़ 34 लाख 74 हजार 240 रुपये, जबकि दूसरी बार 17 बक्सों में 68 करोड़ 10 लाख 27 हजार रुपये बैंक को भेजे गए हैं।
पीयूष जैन के कानपुर और कन्नौज के ठिकानों में हुई रेड में 23 किलो सोना भी मिला है। जब्त किए गए सोने के बिस्किट पर International Precious Metal Refinery (IPMR) अंकित। |
वहीं अब राजस्व खुफिया निदेशालय (Directorate of Revenue Intelligence) ने 64 किलोग्राम सोने की तस्करी मामले में पीयूष जैन को हिरासत में लेने का फैसला किया है।
पीयूष जैन के कानपुर और कन्नौज के ठिकानों में हुई रेड में 177 करोड़ की कैश बरामदगी के साथ 23 किलो सोना भी मिला है। जब्त किए गए सोने के बिस्किट पर International Precious Metal Refinery (IPMR) अंकित है। दुबई के अबू धाबी हैडक्वाटर की इस रिफायनरी में सोने के बिस्किट तैयार किए जाते हैं, जिसकी एक ब्रांच शारजाह में है और दूसरी ब्रांच गोल्ड लैंड बिल्डिंग, गोल्ड सोक, दुबई में है। आईपीएमआर सीधे सोने की बिक्री नहीं करता है। पीयूष जैन के घर से बरामद हुए सोने के बिस्किट पर कुछ मिटाने की कोशिश भी की गई है।
कर चोरी के आरोपी पीयूष जैन ने अपने सोने के स्विट्जरलैंड कनेक्शन को छुपाने के लिए कंपनी के नाम खरोंच कर हटा दिए हैं। अब डीआरआई को शक है कि जिन कंपनियों के नाम मिटा दिए गए हैं, यह दो कंपनियां हैं और दोनों ही कंपनियों का स्विट्जरलैंड से कनेक्शन है। दोनों ही कंपनियां स्विट्जरलैंड में सोना बिक्री का कारोबार करती हैं।
पूछताछ के लिए बेट को इसलिए हिरासत में लिया
DGGI ने कोर्ट में कुछ दस्तावेज पेश किए हैं। उल्लेख किया गया है कि पीयूष जैन ने चालान का दुरुपयोग व्यापार में नकदी के अवैध उपयोग और कर बचाने के इरादे से किया है। अब उन्हें 52 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाकर जमानत मिल सकती है। डीजीजीआई की रिपोर्ट के बाद इनकम टैक्स भी नहीं कर पाएगा कार्रवाई
हालांकि 64 किलो सोना और 600 किलो चंदन के तेल की बरामदगी के मामले में उनकी मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। जीएसटी के जानकारों का कहना है कि अगर कुछ और होता है तो मनी लॉन्ड्रिंग और ईडी की कार्रवाई बाद में की जा सकती है। मंगलवार की रात पीयूष जैन के बेटे प्रत्यूष जैन को भी डीजीजीआई की टीम पूछताछ के लिए कन्नौज ले गई है।
कन्नौज वाले घर से मिला 19 करोड़ कैश |
टैक्स चोरी के लिए किया करोड़ों का नकद लेनदेन
डीजीजीआई अहमदाबाद की टीम ने इत्र कारोबारी पीयूष जैन के खिलाफ जीएसटी की धारा 132ए और 67 के तहत कार्रवाई की है। उसे गिरफ्तार कर जीएसटी की धारा 69 के तहत न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। पीयूष जैन के वकील सुधीर मालवीय ने बताया कि डीजीजीआई ने आरोप लगाया है कि टैक्स चोरी की मंशा से चालान का दुरुपयोग किया गया है।
मालवीय ने कहा कि प्रारंभिक जांच में करीब 35 करोड़ की कर चोरी का मामला पकड़ा गया है। जुर्माने सहित कुल 52 करोड़ रुपये जमा करने होंगे। इसके लिए पीयूष जैन की ओर से डीजीजीआई को उनके खाते से जुर्माना वसूलने का आवेदन दिया गया है। लेकिन अभी तक खाते से राशि नहीं निकाली गई है।
पांच साल तक की सजा, जमानती केस
जीएसटी के वरिष्ठ अधिवक्तओं की मानें तो अब तक की गई कार्रवाई के अनुसार पीयूष जैन को 5 साल तक की सजा हो सकती है। हालांकि काली रकम यदि राष्ट्रविरोधी गतिविधि में इन्वेस्ट की गई है तो जमानत मिलना मुश्किल है। डीजीजीआई अपने डिपार्टमेंट टैक्स चोरी को मंजूरी मिलने के बाद केस को अन्य फर्दर एक्शन के लिए इनकम टैक्स को सौंपेगी। इसमें करीबन 3 गुना जुर्माना लगना तय है, जबकि जीएसटी की चोरी के लिए 100 गुना जुर्माना लगाया जाएगा।
इसमें अगर ईडी और मनी लॉन्ड्रिंग का केस भी बनता है तो जमानत मिलना मुश्किल है। इसके लिए डीजीजीआई की जांच खत्म होने का वेट करना होगा।
DGGI की रेड के बाद मनी लॉन्ड्रिंग और ईडी की कार्रवाई होगी
कानपुर इनकम टैक्स बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष और चार्टर्ड अकाउंटेंट दीप मिश्रा ने कहा कि इतनी बड़ी रकम नकद और सोना-चांदी मिलने के बाद कई सवाल उठ रहे हैं। पीयूष जैन की कंपनी का कुल टर्नओवर कितना है, यह भी देखने वाली बात है।
कई हजार करोड़ का टर्नओवर करने वाले कारोबारियों के पास भी इतनी बड़ी रकम का कैश रखना गैरकानूनी है। सभी बड़े लेनदेन बैंक द्वारा ही किए जा रहे हैं। ऐसे में डीजीजीआई की कार्रवाई इनकम टैक्स, मनी लॉन्ड्रिंग और ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) आने वाले कुछ दिनों में तय मानी जा रही है।
बेहद गोपनीय क्यों होता है ये कारोबार?
स्थानीय लोगों की मानें तो कन्नौज के परफ्यूम डीलर अपने इत्र के व्यापार में बेहद गोपनीयता रखते हैं। स्थानीय निवासी इंद्रेश जैन के अनुसार किस पान मसाला का कंपाउंड बनाने में किस परफ्यूम और केमिकल का इस्तेमाल और कितनी क्वांटीटी में किया गया ये जानकारी कोई भी किसी को नहीं बताता है।
पान मसाला कंपनियां भी जिससे कंपाउंड खरीदती हैं उसे भी बेहद गुप्त रखा जाता है। देशभर में बड़ी से बड़ी पान मसाले का कंपाउंड यानि फ्लेवर और स्वाद का गढ़ कन्नौज ही है। यहीं से बड़े से बड़े पान मसाले का कंपाउंड सप्लाई होता है। गोपनीय रखने के पीछे यही कारण है कि कहीं फॉर्मुला लीक न हो।
यही कारण है कि अपने पान मसाले के कंपाउंड के कारण ही रजनीगंधा पानमसाला प्रेमियों की ओर से ज्यादा पसंद किया जाता है।
कन्नौज में पीयूष जैन के घर में कमरों में लगे ताले को काटते डीजीजीआई के अधिकारी। |
पुरानी चीजों से हमेशा लगाव, इसलिए जो खरीदा उसे कभी नहीं बेचा
पीयूष जैन के पड़ोसी निशंक जैन ने बताया कि पीयूष को उसकी बातों का बहुत शौक है। कार्रवाई से तीन दिन पहले निशंक ने पीयूष जैन को सलामी दी थी। बताया कि उसने जो कुछ भी खरीदा उसे उसने कभी नहीं बेचा। एलएमएल स्कूटर के अलावा उनके पास एक पुरानी एंबेसडर मोटरसाइकिल भी है।
उनके पास एक पुरानी सैंट्रो कार और एक नई फॉर्च्यूनर कार भी है। उनके पास एक पुरानी क्वालिस कार भी है। उनका और पूरे परिवार का रहन-सहन भी बेहद साधारण रहा है। उन्होंने न तो कानपुर और न ही कन्नौज को खाली छोड़ा।
शिखर पान मसाले पर छापे के बाद खुला था पीयूष का राज
डीजीजीआई अहमदाबाद की टीम ने 22 दिसंबर को शिखर पान मसाला और ट्रांसपोर्टर प्रवीण जैन के के यहां रेड की थी। शिखर पान मसाला और ट्रांसपोर्टर से मिले दस्तावेजों के बाद टीम ने पीयूष जैन के बंगले पर छापेमारी की थी। फिर यहां से बेहिसाब नकदी मिलने का सिलसिमला शुरू हुआ, इतनी रकम देख कर एक बारगी अधिकारियों के भी होश उड़ गए थे।
Kanpur news | Kanpur IT Raid | Kanpur it raid | it raid in Kanpur | Kanpur it raid Piyush Jain | Kanpur it raid latest news | raid in kanpur |kanpur news | Piyush Jain it raid | it raid and up election | it raids at piyush jain house | piyush Jain kanpur | piyush jain house it raids |