Jodhpur Cylinder Blast मामले पर IOC के CGM से बोले राजेंद्र गूढ़ा‚ आप मेरी कस्टडी में‚ मंत्री हूं.. जो करना है करलो‚ जूते पर रखता हूं कुर्सी Read it later

जोधपुर सिलेंडर ब्लास्ट(Jodhpur Cylinder Blast) मामले में जान गवाने वालों की संख्या लगातार इजाफा हो रहा है। इतनी बड़ी घटना के बाद भी IOCL का एक भी अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा। अधिकारियों के इस तरह की बेरुखी  पर राजस्थान सरकार के सैनिक कल्याण राज्य मंत्री राजेंद्र गुढ़ा भड़के हुए हैं। वे शनिवार दोपहर को जयपुर स्थित इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (IOCL) के कार्यालय पहुंचे थे। यहां पहुंच कर उन्होंने मुख्य महाप्रबंधक (सीजीएम) को कड़ी फटकार लगाई। उन्होंने CGM से कहा आपकी इंसानियत मर चुकी है…, जिसे मैं आज जगाने आया हूं….। आज मैं आपको हिरासत में लेता हूं, अब आप जिसे चाहो बुला लो… पुलिस को बुलाओ या किसी भी डॉन को…। सिर्फ यह नहींण्ण्ण् उन्होंने यहां तक कह डाला कि मैं राजस्थान सरकार का मंत्री हूं और कूर्सी को जूती पर रखता हूं।

बता दें कि जोधपुर गैस ब्लास्ट Jodhpur Cylinder Blast() में अब तक 33 लोगों की जान गवा चुके हैं।  कुल 17 घायल अभी भी महात्मा गांधी (एमजी) अस्पताल में एडमिट हैं। इनमें से 8 की हालत गंभीर होने पर उन्हें आईसीयू में रखा गया है। वहीं 9 को जनरल बर्न यूनिट वार्ड में भर्ती कराया गया है। चंपा कंवर (40) पत्नी जब्बार सिंह की शुक्रवार को इलाज के दौरान मौत हो गई। इस हादसे का शिकार हुए पीड़ितों में चंपा कंवर 60 फीसदी से ज्यादा जल चुकी थीं।

 

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चार दिन पहले गूढ़ा घायलों का हाल जानने जोधपुर गए थे (Jodhpur Cylinder Blast)

मंत्री राजेंद्र गुढ़ा गत 14 दिसंबर को जोधपुर गए थे। गूढ़ा ने वहां एमजी अस्पताल में घायलों के परिजनों से मुलाकात कर उनकी पीड़ा जानी थी। इसके बाद वह भुंगड़ा गांव पहुंच कर ग्रामीणों व परिजनों से मुलाकात की थी।

गुढ़ा  का पारा इसलिए चढ़ा हुआ है कि  मामले में अब तक IOC का एक भी अधिकारी मौके पर हाल जानने नहीं गया। यही कारण है कि गूढ़ा ने शनिवार को आदर्श नगर स्थित आईओसीएल के सीजीएम (एलपीजी) कुलविंदर सिंह के चेंबर में पहुंच कर करीब 25 मिनट तक मुख्य महाप्रबंधक की जमकर क्लास ली।

गुढ़ा बोले कि आप रोबोट नहीं‚ इंसान हैं‚ लेकिन आपके लक्षण इंसानों की तरह नहीं प्रतीत हो रहे है। इसलिए इंसानों की तरह ही पेश आइए। इस पर कुलविंदर सिंह ने कहा कि जनता के आक्रोश के कारण हम वहां नहीं गए। यह सुनकर ही गूढ़ा तैश में आ गए। उन्होंने कहा- आप सभ्य समाज में रहते हैं। कम से कम थोड़ी बहुत तो इंसानियत दिखाइए।  अब मैं कह रहा हूं कि जिसे बुलाना हो, बुला लीजिए। राजस्थान हो या दिल्ली किसी पुलिस भी पुलिस या डॉन को बुलालो आप मेरी कस्टडी में हैं।

मैं राजस्थान सरकार का मंत्री जरूर हूं… लेकिन कुर्सी को जूती पर रखता हूं…। आप जो जो करना चाहते हो कर लो…। आप किस तरह का स्पष्टीकरण दे रहे हैं?  अरे आप वहां जाकर दो आंसू ही बहा देते हम तो बस यही चाह रहे थे‚ वहीं खड़े हो जाते, हम तो बस यही चाह रहे थे। लेकिन, बात इंसानियत की है जो इनकी आपकी मर चुकी है।

गूढ़ा ने कहा कि कुलविंदर सिंह पूरे राजस्थान में एएलपीजी के वितरण और प्रबंधन की जिम्मेदारी संभाले हुए हैं। अभी तक कंपनी की ओर से इस मामले में किसी तरह का कोई एक्शन नहीं लिया गया है।

गूढ़ा ने खुद का ही उदाहरण देकर अधिकारी की क्लास ली

इस पूरे वाकये के दौरान गुढ़ा ने अपना ही उदाहरण देकर कहा कि यदि सड़क दुर्घटना में किसी की मौत भी हो जाती है तो कंपनी क्लेम देती है। इसके बाद भी मुझे पता चलता है तो मैं वहां स्वयं जाता हूं। ऐसी कई घटनाएं हो चुकी हैं। एक कार दुर्घटना हुई…  जब मैं गुजर रहा था तो मैंने कार रोकी और दुर्घटनाग्रस्त कार का शीशा तोड़कर घायल को बाहर निकाला। मैं ऐसा इसलिए करता हूं ताकि घायलों को कम से कम समय रहते इलाज मिल जाए। ऐसा इसलिए करता हूं ताकि ये मलाल न रह जाए कि फलां घायल इलाज न मिलने के कारण मर गया। इसकेि लए डॉक्टर से भी बात करनी पड़े तो करता हूं।

 

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CM गहलोत और केंद्रीय मंत्री शेखावत को भी लिया आड़े हाथों

गुढ़ा ने इस पूरे घटनाक्रम (Jodhpur Cylinder Blast) में मूकदर्शक बने सीएम अशोक गहलोत और केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत को भी खरी खोटी सुनाई। गूढ़ा ने कहा कि मैंने अपने जीवन में इतनी बड़ी त्रासदी न कभी देखी और न सुनी। जहां इतने  लोग जिंदा जल गए। कई घर तबाह हो गए।  लेकिन सरकारों ने घटना को हल्के में ले लिया।  शेखावत को आज अपने क्षेत्र में हाल जानने पहुंचना चाहिए था। लेकिन वे संसद में विराजमान हैं।  लोकसभा क्षेत्र सांसद का परिवार है और यहां की जनता ने ही उन्हें जिताकर लोकसभा तक पहुंचाया है। गजेंद्र सिंह अपने माता पिता के नाम से नहीं जाने जाते हैं जोधपुर की जनता के नाम से जाने जाते हैं।  इसके बाद भी मृतकों को घर पहुंचकर सांत्वना न देना शर्मनाक है। गूढ़ा ने कहा इतना ही नहीं खुद मुख्यमंत्री भी मृतकों के घर नहीं गए। वे भी जोधपुर के ही रहने वाले हैं।

जोधपुर हादसे में अब तक 33 जान गवा चुके‚  4 दिन से सट्राइक जारी

बता दें कि जोधपुर के शेरगढ़ कस्बे के भुंगड़ा गांव में 8 दिसंबर को शादी समारोह के घर में गैस सिलेंडर फटने से आगजनी को बड़ा हादसा Jodhpur Cylinder Blast() हो गया था। इन घायलों को जोधपुर के महात्मा गांधी अस्पताल लाया गया‚ लेकिन, मौत का आंकड़ा दिनों दिन एक के बाद एक बढ़ता ही जा रहा था। हादसे के बाद समाज के लोग 4 दिन से सरकार से विशेष सहायता पैकेज की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं। प्रदर्शनकारियों ने शव लेने से भी इनकार कर दिया है।

 

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